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फूड सेफ्टी राम भरोसे
मैगी नूडल्स का विवाद अभी ठंडा भी नहीं पड़ा था कि बाजारों में बिकते ब्रेड की क्वॉलिटी पर सवाल खड़े हो गए हैं। सेंटर फॉर साइंट एंड एनवायरनमेंट (सीएसई) की एक हालिया स्टडी से यह राज खुला है कि जिस ब्रेड का इस्तेमाल हम नाश्ते के लिए करते हैं, उसमें कैंसर पैदा करने वाले केमिकल मौजूद हैं। सीएसई ने राजधानी दिल्ली के विभिन्न इलाकों से ब्रेड के नमूने इकट्ठा कर उनकी जांच की और उनमें पोटैशियम ब्रोमेट और पोटैशियम आयोडेट के अंश पाए। दिलचस्प बात यह कि ब्रेड निर्माता कंपनियों ने अपने बचाव में जो दलील दी है, वह यह नहीं है कि उनके उत
कांग्रेस की चुनौती Source NB T
कांग्रेस की चुनौती पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव परिणाम के बाद बीजेपी यह प्रचारित करने में जुट गई है कि उसका कांग्रेस मुक्त भारत का अभियान कामयाब हो रहा है और अब जल्दी ही देश से कांग्रेस का सफाया हो जाएगा। मीडिया के एक हिस्से की भी यही राय है। कुछ ऐसा माहौल बना दिया गया है कि राष्ट्रीय पार्टी के रूप में कांग्रेस के दिन अब लद गए हैं। चुनाव नतीजों का अतिरेक में किया गया विश्लेषण हमेशा गलत निष्कर्ष की ओर ले जाता है। कहा जा रहा है कि कांग्रेस ने दो राज्य गंवा दिए। असम में पिछले 15 वर्षों से तरुण गोगोई की सरकार थी। अगर इस

कड़ी सजा का प्रावधान
केंद्रीय कैबिनेट बुधवार को उपभोक्ता संरक्षण विधेयक 2015 को मंजूरी दे सकती है. यह मौजूदा कानून का स्थान लेगा और अनुचित व्यापार व्यवहार को रोकने के लिए एक नियामक प्राधिकरण की स्थापना की प्रक्रिया शुरू करेगा. चालू मानसून सत्र में पारित कराने की कोशिश सूत्रों के मुताबिक मंत्रिमंडल की बैठक के एजेंडे में उपभोक्ता संरक्षण विधेयक, 2015 शामिल है. मंत्रिमंडल की मंजूरी के बाद उपभोक्ता मामलों का मंत्रालय संसद के चालू मानसून सत्र में इस विधेयक को पेश करने की तैयारी कर रहा है. अंतरराष्ट्रीय मानकों पर आधारित नया कानून यह नया वì

गोगोई की हार के 10 प्रमुख कारण
अब गोगोई की हार के 10 प्रमुख कारण कुछ इस प्रकार समझे जा सकते हैं... मुख्यमंत्री रहते हुए गोगोई ने अपने कार्यकाल में किसी भी दूसरी श्रेणी के नेताओं को उभरने नहीं दिया और पार्टी के शीर्ष नेताओं सोनिया व राहुल गांधी से उनकी नजदीकियों के चलते कोई अन्य नेता उनका विरोध करने की कभी हिम्मत नहीं जुटा पाया। गोगोई की अकेले ही प्रचार की सभी जिम्मेदारियां निभाने की जिद और अति-आत्मविश्वास ही उनके लिए नुकसानदेह सिद्ध हुआ। कांग्रेस के प्रति देशव्यापी असंतोष के कारण कांग्रेस के शीर्ष नेताओं के प्रचार का लाभ भी उन्हें नहीं मिलाð